Tuesday, November 4, 2025
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विष्णुपद प्रांगण में ‘कला ज्योति संस्कारशाला’ द्वारा मर्मस्पर्शी नाटक का मंचन

विश्व प्रसिद्ध पितृपक्ष मेला 2025 के अवसर पर जिला प्रशासन के सौजन्य से विष्णुपद प्रांगण में ‘कला ज्योति संस्कारशाला’ द्वारा मंदिर परिसर में प्रशासन की ओर से सजे आकर्षक एवं भव्य मंच पर पर्यावरण को बचाने के संदेश से जुड़े भावपूर्ण अभिव्यक्ति को प्रदर्शित करने वाला मर्मस्पर्शी नाटक “अगर कहीं मैं तोता होता” का हृदयग्राही मंचन हुआ। इसे देख उपस्थित जन समूह जो हजारों-हजार की संख्या मे देश-विदेश के श्रद्धालु सभा मंडप में उपस्थित थे उन्होंने इसकी भूरि-भूरि प्रशंसा की साथ ही इसके लेखक तथा निर्देशक को बधाइयां दी।

यह नाटक गयाजी की जीवनदायिनी व मोक्षदायिनी पवित्र फल्गु नदी पर मुख्य रूप से आधारित था। फल्गु नदी में गंदगी नहीं डालने व पक्षियों से प्रेम करने और पक्षियों को बचाने की कोशिश कर प्रकृति से जुड़े अन्य संदेशों को दर्शाया गया।

इस नाटक के लेखक तथा निर्देशक शंभू सुमन हैं, जो राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय स्तर के कलाकार ही नहीं वरन् देश और विदेशों से ढेर सारी प्रशस्तियां भी ये प्रात कर चुके हैं। फरवरी 2009 में “यूनेस्को-डेनमार्क” की कॉरपोरेट बॉडी ‘थिएटर मूवमेंट’, कटक, ओडीशा ने इन्हें अंतरराष्ट्रीय सम्मान “नाट्य-श्री” प्रदान किया है।

इस सर्वोच्च सम्मान को पाने वालों में ये पहला एकमात्र बिहारी हैं। वर्ष 2010 में “क्रिएटिव-एरा,” जर्मनी, के समन्वयक ‘गैंग स्कैर्म’ की अगुवाई में भारत-जर्मनी की सांस्कृतिक आदान- प्रदान पहल के तहत इनका आगमन 24 दिसंबर 2010 से 2 जनवरी 2011 तक गया में प्रवास रहा।

इस बीच इतने दिनों के बीच”उल्फ गैंग स्कैर्म” ने शंभू सुमन की अद्भुत प्रतिभा को जानकर और देखकर आश्चर्य चकित रहे। उनके द्वारा तैयार किये गए नवोदित कलाकारों के प्रदर्शन व तरीके,जो जगत प्रसिद्ध नाट्य-शास्त्र के पुरोधा “भरत मुनि” के नाट्यशास्त्र पर आधारित था, उसका उन्होंने बड़ी गंभीरता और सूक्ष्मता से अध्ययन,अवलोकन तथा पर्यवेक्षण किया। साथ ही सुमन द्वारा संपादित इस कार्य के लिए उन्होंने इनकी भूरी-भूरी प्रशंसा की और वे एक स्वर्णिम याद के साथ अपने स्वदेश लौटे।

“अगर कहीं में तोता होता” नाटक मंचन के अवसर पर जिन कलाकारों और प्रबुद्ध जनों ने भाग लिया उनमें प्रमुख हैं-पर्यटन विभाग से जुड़े शंभू रंजन मैजिस्ट्रेट तथा देश विदेश से बड़ी संख्या में पितृपक्ष महासंगम 2025 में पधारे श्रद्धालुगण। नाटक में भाग लेने वाले कलाकारों में दीपिका कुमारी, कसक कुमारी, विशाखा कुमारी, आराध्या नयन, पूजा कुमारी, परी गुप्ता, आलिया कुमारी, तन्नू कुमारी, परिधि कौशल, मानवी गुप्ता, तनुजा कुमारी, राधिका कुमारी, रोशनी कुमारी, चाहत कुमारी, सेजल रब्बानी, आयुषी, नव्या, अंशिका, वैष्णवी आदि प्रमुख हैं।

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